
राजू अनेजा, नैनीताल।सड़क और मूलभूत सुविधाओं की मांग को लेकर पंचायत चुनाव के बहिष्कार की चेतावनी देने वाले सौलिया और घिंघरानी गांव के ग्रामीण आखिरकार एसडीएम के हस्तक्षेप के बाद मान गए। लेकिन चेतावनी स्पष्ट है — अगर अब भी वादे ज़मीन पर नहीं उतरे, तो वे आंदोलन की राह पकड़ेंगे।
13 किलोमीटर दूर गांव, लेकिन विकास से कोसों दूर
नैनीताल जिले की बेलुवाखान ग्रामसभा के तोक सौलिया गांव के लोग वर्षों से सड़क, पेयजल और अन्य बुनियादी सुविधाओं से वंचित हैं। शहर से महज 13 किलोमीटर दूर बसे इस गांव की तस्वीर आज भी उपेक्षा की मार झेल रही है।इसी लचर व्यवस्था से आक्रोशित ग्रामीणों ने मंगलवार को पंचायत चुनाव का बहिष्कार करने का ऐलान कर दिया था।
प्रशासन हरकत में आया, गांव पहुंचा पूरा अमला
चुनाव बहिष्कार की घोषणा की खबर मिलते ही डीएम वंदना ने तत्काल प्रभाव से एसडीएम नवाजिश खलिक को लोनिवि, जल संस्थान, एडीबी व सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ गांव भेजा। बुधवार को एसडीएम खुद ग्रामीणों से रूबरू हुए और प्रत्येक समस्या को गंभीरता से सुना।
एसडीएम का आश्वासन: “अब कार्रवाई ज़मीन पर दिखेगी”
वार्ता के दौरान एसडीएम ने ग्रामीणों को आश्वस्त किया कि सड़क निर्माण से जुड़ी तमाम प्रक्रियाएं पूरी हो चुकी हैं और जल्द ही कार्य शुरू कराया जाएगा। इसी आश्वासन के बाद ग्रामीणों ने फिलहाल चुनाव बहिष्कार का फैसला टाल दिया।किशन भाकुनी, रवि बिष्ट, किरन मेहरा, लक्ष्मी देवी, नरेंद्र सिंह, आनंद बिष्ट सहित अनेक ग्रामीण इस वार्ता में मौजूद रहे।
घिंघरानी में सुरक्षा दीवार टूटी, ग्रामीणों का धैर्य भी टूटा — प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन, आपदा क्षेत्र घोषित करने पर माने ग्रामीण
बेलुवाखान से कुछ ही दूरी पर स्थित ग्राम पंचायत हैडियागांव के तोक घिंघरानी के लोगों ने भी बुधवार को चुनाव बहिष्कार की चेतावनी के साथ प्रशासन के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन किया। यहां आपदा में क्षतिग्रस्त हुई सुरक्षा दीवार को अब तक दुरुस्त नहीं किया गया है।
B.D.O. और पटवारी से नहीं माने, एसडीएम पर जताया भरोसा
प्रदर्शन की खबर पर भीमताल ब्लॉक प्रमुख और पटवारी मौके पर पहुंचे, लेकिन ग्रामीणों का गुस्सा शांत नहीं हुआ। इसके बाद एसडीएम नवाजिश खलिक स्वयं गांव पहुंचे। उन्होंने मौके का निरीक्षण कर पटवारी को क्षेत्र को आपदा प्रभावित घोषित करने के निर्देश दिए। साथ ही जल्द समाधान का आश्वासन दिया।इस दौरान करन दनाई, दीपक चौनाल, पूरन चौनाल, आशा चौनाल, गिरीश चंद्र समेत कई ग्रामीण उपस्थित रहे।
ग्रामीणों की चेतावनी: अबकी बार फिर वादाखिलाफी हुई तो होगा बड़ा जनांदोलन
ग्रामीणों ने स्पष्ट शब्दों में कहा है कि इस बार सिर्फ आश्वासन नहीं, अब कार्य होते दिखने चाहिए। वरना अगली बार न केवल चुनाव बहिष्कार बल्कि सड़कों पर उतरकर बड़ा आंदोलन किया जाएगा।
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