राजू अनेजा, काशीपुर।हाईकोर्ट के आदेश के बाद काशीपुर प्रशासन एक्शन मोड में आ गया है। सोमवार को एसडीएम अभय प्रताप सिंह ने तहसीलदार पंकज चंदोला और राजस्व टीम के साथ ऐतिहासिक द्रोणासागर परिसर का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान परिसर में अवैध रूप से संचालित धार्मिक स्थलों और गंदगी का अंबार देख एसडीएम अभय प्रताप सिंह का पारा हाई हो गया। एसडीएम ने मौके पर ही धार्मिक स्थल कमेटी संचालकों को नोटिस भेजने के निर्देश दिए।
अवैध कब्जों पर सख्ती
निरीक्षण के दौरान एसडीएम ने बताया कि द्रोणासागर परिसर में भूमिधरी के साथ-साथ बंजर और निजी भूमि पर भी धार्मिक संरचनाएं खड़ी कर दी गई हैं। कई स्थलों पर बिना अनुमति के कमेटी बनाकर पूजा स्थल संचालित किए जा रहे हैं। इन सभी मामलों में कमेटी सदस्यों से अभिलेख तलब किए जा रहे हैं। एसडीएम ने दो टूक कहा कि अवैध निर्माण किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे।
वाहनों पर रोक, परिसर में लगेंगे गेट
निरीक्षण के दौरान यह भी देखा गया कि द्रोणासागर परिसर में बेरोकटोक वाहन प्रवेश कर रहे हैं। इस पर एसडीएम ने तत्काल आदेश देते हुए बाजपुर रोड की ओर बने द्वार से लेकर परिसर के अंदर दो स्थानों पर गेट लगाने के निर्देश दिए ताकि बाहरी वाहन अंदर न आ सकें। ठेकेदार को काम शुरू करने के निर्देश मौके पर ही दे दिए गए।
टूटी दीवारें होंगी दुरुस्त
टीला रोड की ओर टूटी हुई पुरानी दीवारों की हालत पर भी अधिकारियों ने नाराजगी जताई। एसडीएम ने स्पष्ट किया कि सौंदर्यीकरण और सुरक्षा की दृष्टि से इन दीवारों का भी शीघ्र निर्माण कराया जाएगा।
क्या बोले अधिकारी
एसडीएम अभय प्रताप सिंह ने कहा: “द्रोणासागर एक ऐतिहासिक धरोहर है। इसमें किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधि, गंदगी या अतिक्रमण सहन नहीं किया जाएगा। धार्मिक स्थल कमेटियों से रिकॉर्ड मांगा गया है और बिना अनुमति के बनाए गए ढांचों पर कार्रवाई तय है।”
यह कार्रवाई आने वाले दिनों में कई अन्य अतिक्रमण स्थलों पर भी असर डाल सकती है। प्रशासन का यह रुख साफ संकेत है कि अब द्रोणासागर को अतिक्रमण मुक्त और सुव्यवस्थित बनाने की तैयारी पूरी तरह शुरू हो चुकी है।
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