फाल्गुन अमावस्या पर ऐसे करें पितरों को प्रसन्न, दूर होंगी हर मुश्किलें

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सनातन धर्म में अमावस्या और पूर्णिमा तिथि को बेहद ही खास माना गया है जो कि हर माह में एक बार आती है अभी फाल्गुन मास चल रहा है और इस माह पड़ने वाली अमावस्या को फाल्गुन अमावस्या के नाम से जाना जाता है इस दिन स्नान दान, पूजा पाठ और तप जप का विधान होता है।

इस बार फाल्गुन अमावस्या 10 मार्च को पड़ रही है इस दिन पितरों को प्रसन्न करने व पितृदोष से मुक्ति पाने के लिए आप कुछ मंत्रों का जाप कर सकते हैं माना जाता है कि फाल्गुन अमावस्या पर विशेष मंत्रों का जाप करने से पूर्वज प्रसन्न होकर आशीर्वाद देते हैं और सारे कष्ट दूर हो जाते हैं तो आज हम आपके लिए लेकर आए हैं चमत्कारी मंत्र।

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इन मंत्रों से होंगे पितृ प्रसन्न-

ॐ आद्य-भूताय विद्महे सर्व-सेव्याय धीमहि।

शिव-शक्ति-स्वरूपेण पितृ-देव प्रचोदयात्’

अगर आपकी कुंडली में पितृदोष है तो ऐसे में आप अमावस्या के दिन इस मंत्र का जाप कर सकते हैं आपको बता दें कि इस मंत्र का जाप 108 बार करना लाभकारी होगा। ऐसा करने से पूर्वज प्रसन्न हो जाते हैं और पितृदोष से मुक्ति मिलती है।

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गायत्री मंत्र-

ॐ भूर्भुव: स्व: तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो न: प्रचोदयात्

ज्योतिष अनुसार अमावस्या के दिन अगर इन मंत्रों का जाप किया जाए तो नकारात्मकता दूर हो जाती है और सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है।

ॐ कुल देवताभ्यो नमः।

फाल्गुन अमावस्या के दिन पितरों का तर्पण करते वक्त अगर इस मंत्र का जाप किया जाए तो पूर्वजों को शांति मिलती है जिससे साधक के जीवन सुख समृद्धि आती है।

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अयोध्या मथुरा, माया, काशी कांचीअवन्तिकापुरी, द्वारवती ज्ञेयाः सप्तैता मोक्ष दायिका

अमावस्या के दिन स्नान के समय इस मंत्र का जाप करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है और जीवन के सारे कष्ट दूर हो जाते हैं।

गंगे च यमुने चैव गोदावरी सरस्वती, नर्मदा सिंधु कावेरी जलेस्मिनेसंनिधि कुरू