छोटी दिवाली पर कितने दीपक जलाने चाहिए, जानिए इस दिन क्या-क्या करते हैं

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दीपावली की तरह ही छोटी दिवाली पर भी शाम के समय दीपक जलाने चाहिए। अच्छे पकवान बनाएं। पूरे रात दीपक की लौ जलती रहे। छोटी दिवाली पर कितने दीपक जलाएं यह स्पष्ट संख्या किसी भी जगह वर्णित नहीं है।

अपनी श्रद्धानुसार दीपक की संख्या रखें। याद रहे दीवावली दीपों का पर्व है। बड़ी बड़ी रोशनी व लाइट की व्यवस्था से घर को जगमगाते रहिए वह तो ठीक है लेकिन महत्व दीपक का है। मिट्टी के दीपक जलने चाहिए तभी इस पर्व की प्रासंगिकता है।

(छोटी दिवाली पर क्या करना चाहिए)

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1- प्रातःकाल उठकर ब्रम्हमुहूर्त में श्री रामरक्षास्तोत्र का पाठ करें। अपने मंदिर में घी के दीपक जलाएं। भगवान को गंगाजल से स्नान कराकर नए वस्त्र व आभूषण पहनाएं। सुगन्धित धूप जलाएं। भगवान को भोग लगाएं।

2- इस दिन घर पर अखंड श्री रामचरितमानस का पाठ करें। परिवार के सदस्य क्रमशः मानस पाठ करते रहें।

3- हनुमान जी की उपासना का विशेष महत्व है। यदि पूरा श्री रामचरितमानस पढ़ना सम्भव न हो तो सुन्दरकाण्ड का पाठ अवश्य करें। हनुमानचालीसा का 100 पाठ बहुत ही पुण्यदायी है। बजरंगबाण व हनुमानबाहुक का पाठ भी कर सकते हैं।

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4-घर पर ही श्री विष्णुसहस्रनाम का पाठ करें। ॐ नमो भगवते वासुदेवाय महामन्त्र का निरन्तर जप करें।

5- घर के सभी सदस्य मिलकर भगवान के नाम का संकीर्तन करें। भजन करें। भगवान राम के नाम का जप बहुत ही पुण्यदायी व कई जन्मों के पापों को दूर करता है। घर पर ही अवध जैसा माहौल बनाएं। सब प्रेम से रहें। सभी सदस्य मिलकर राम कथा सुनें। भगवान के कथा के विभिन्न प्रसंगों का आनंद लें। पूरे घर को फूल मालाओं से सुसज्जित करें। घर का वातावरण भक्तिमय हो।

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6-घर पर ही राम जी की पूजा के साथ साथ शिव पूजा भी करें। भगवान राम शिव की व शिव जी राम जी की पूजा करते हैं। घर पर ही शंकर जी के सामने बैठकर राम नाम संकीर्तन करें। गणेश व लछ्मी पूजा भी करें। श्री सूक्त व कनकधारास्तोत्र का पाठ अवश्य करें।