लोकतंत्र की मिसाल बना काशीपुर नगर निगम, दलगत सीमाओं से ऊपर उठकर महापौर दीपक बाली के सम्मान में एकजुट हुआ पूरा सदन, पार्षदों ने कहा ‘हम सब मेयर हैं
Kashipur Municipal Corporation became an example of democracy, rising above party boundaries, the entire house united in honor of Mayor Deepak Bali, councilors said 'We are all mayors'

राजू अनेजा, काशीपुर।काशीपुर नगर निगम के इतिहास में मंगलवार का दिन एक स्वर्णिम अध्याय बनकर दर्ज हो गया। सदन में एक ऐसा दृश्य देखने को मिला, जिसने लोकतंत्र की आत्मा को जीवंत कर दिया। आमतौर पर दलगत राजनीति के ताने-बाने में उलझा नगर निगम सदन, आज पूरी तरह एकजुट था—केवल एक नेता, एक सोच और एक भावना के इर्द-गिर्द: महापौर दीपक बाली के प्रति आभार और सम्मान।
सदन में दिखी एकता की अद्भुत मिसाल
इस आयोजन की सबसे खास बात यह रही कि पार्षदों की पहचान दलों से नहीं, एक परिवार के सदस्य के रूप में सामने आई। कोई बीजेपी का नहीं था, कोई कांग्रेस का या निर्दलीय—सभी जैसे अपनी पहचान भुलाकर एक मंच पर खड़े थे।
महापौर के अभिनंदन समारोह में जब फूलमालाओं और तालियों के साथ उनका स्वागत हुआ तो दीपक बाली खुद भी भावुक हो उठे। उन्होंने कहा:
“यह सिर्फ एक सम्मान नहीं, मेरी आत्मा तक को छू गया है। पार्षदों का यह स्नेह मेरी सबसे बड़ी पूंजी है, जिसे मैं जीवनभर नहीं भूलूंगा।”
सिर्फ महापौर नहीं, हर पार्षद है ‘मेयर’: दीपक बाली
अपने उद्बोधन में महापौर ने सदन को संबोधित करते हुए कहा—
“मैं नहीं चाहता कि किसी वार्ड में कोई पार्षद यह सोचकर रुके कि वह अकेला है। यहां हर पार्षद अपने क्षेत्र का ‘मेयर’ है। मैं हर वक्त आपके साथ खड़ा हूं। पैसे की कोई कमी नहीं होने दूंगा। मैं जो कहता हूं, उसे पूरा करके दिखाता हूं।”
विपक्ष भी हुआ मुरीद
महापौर की कार्यशैली की प्रशंसा केवल सत्ता पक्ष तक सीमित नहीं रही। नेता प्रतिपक्ष राशिद फारूकी ने मंच से कहा—
“मैंने अपनी राजनीतिक पारी में कई महापौर देखे, लेकिन दीपक बाली जैसा संकल्पशक्ति से भरपूर जननेता नहीं देखा। आज काशीपुर को उन्होंने जिस रफ्तार से विकास की पटरी पर दौड़ाया है, वह प्रशंसनीय है।”
सम्मान और स्नेह का संगम बना सभागार
कार्यक्रम में जब महापौर को स्मृति चिन्ह भेंट किए गए और फूलमालाएं पहनाई गईं, तो पूरा सभागार तालियों से गूंज उठा। मंच पर ना कोई सत्ता थी ना विपक्ष—था तो केवल ‘विकास का उत्सव’।
पार्षद अब्दुल कादिर, जो इस कार्यक्रम का संचालन कर रहे थे, ने कहा—
“दीपक बाली की दूरदर्शिता और काम करने की लगन काशीपुर की तकदीर बदल रही है। पार्षदों और जनता में जो विश्वास उन्होंने जगाया है, वह दुर्लभ है।”
विकास ही आधार, जाति-दल से ऊपर उठकर काम
महापौर दीपक बाली की सबसे बड़ी उपलब्धि यह मानी जा रही है कि उन्होंने जातिगत या दलगत राजनीति से ऊपर उठकर नगर के प्रत्येक वार्ड में एक समान विकास को प्राथमिकता दी है।
पार्षदों ने माना कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की युवा सोच, प्रगतिशील दृष्टिकोण और महापौर की निष्पक्ष नीति ने मिलकर नगर निगम में एक नया माहौल तैयार किया है। जनता अब केवल महापौर ही नहीं, पार्षदों के प्रयासों को भी सराह रही है।
कार्यक्रम के सूत्रधार और प्रमुख उपस्थिति
इस अभिनंदन समारोह के प्रणेता भाजपा नेता प्रकाश नेगी रहे, जो पार्षद बीना नेगी के पति हैं। कार्यक्रम में सभी प्रमुख पार्षदों और सामाजिक प्रतिनिधियों की भागीदारी रही, जिनमें प्रमुख रूप से शामिल रहे:
बीना नेगी, अनीता कांबोज, दीपा पाठक, अंजना गुंजन प्रजापति, सुरेश सैनी, पुष्कर बिष्ट, वैशाली गुप्ता, घनश्याम सैनी, अनूप सिंह, सीमा सागर, प्रिंस बाली, मयंक मेहता, मोहम्मद मोनिष, आशी, अरशद भाई, सतीश कुमार, अनिल कुमार, मोहम्मद शरीफ, रवि प्रजापति, संदीप सिंह, मोनू शाह, आलम, सरफराज सैफी, हनीफ, गुड्डू, अरशद, रियाज, विजय बॉबी, कुलदीप शर्मा।
वहीं अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक के अध्यक्ष अजय टंडन उर्फ बोकी चौधरी और वरिष्ठ भाजपा नेता समरपाल सिंह की उपस्थिति ने कार्यक्रम को और गरिमा प्रदान की।
निष्कर्ष:
यह आयोजन केवल एक व्यक्ति का सम्मान नहीं था, यह लोकतंत्र की उस परिपक्वता का प्रमाण था, जिसमें विकास, एकता और विश्वास की भावना ने दलों की सीमाएं लांघ दीं। काशीपुर नगर निगम ने आज जो तस्वीर पेश की, वह पूरे प्रदेश के लिए प्रेरणा का स्रोत बन सकती है।
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