राजू अनेजा,देहरादून। बैंक ऑफ इंडिया से स्पेशल असिस्टेंट पद से सेवानिवृत्त एक वरिष्ठ नागरिक साइबर ठगों के जाल में फंस गए। पत्नी बार-बार चेताती रहीं कि यह फ्रॉड कॉल है, लेकिन उन्होंने सलाह नहीं मानी और खाते की गोपनीय जानकारी साझा कर बैठे। नतीजा—खाते से 8.42 लाख रुपये उड़ गए।
आरकेडिया ग्रांट, प्रेमनगर निवासी प्रेम सिंह ने बताया कि 27 नवंबर को एक अज्ञात कॉलर ने स्वयं को बैंक ऑफ इंडिया का कर्मचारी बताया और झांसा दिया कि उनका लाइफ सर्टिफिकेट निरस्त कर दिया गया है, जिसे अब ऑनलाइन अपडेट करना होगा। कॉलर के बहकावे में आकर उन्होंने खाते और डेबिट कार्ड की सभी जानकारी बता दी।
पत्नी ने बीच में कई बार कहा कि कॉल संदिग्ध है, लेकिन प्रेम सिंह ने चेतावनी को नजरअंदाज कर दिया। इसके बाद ठग ने उन्हें एपीके फाइल भेजकर एप डाउनलोड करवाया और बैंक डिटेल्स भरवाईं। थोड़ी देर बाद कॉलर ने बताया कि लाइफ सर्टिफिकेट अपडेट हो चुका है।
अगले दिन 28 नवंबर को दोबारा संपर्क करने का आश्वासन देकर ठग गायब हो गया। जब खाते की जांच की गई तो 8.42 लाख रुपये उड़ चुके थे।
पीड़ित ने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई है। जांच जारी है।
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